Output Devices of computer और उसके प्रकार Full Details.

Output Devices of computer के बारे में बताये तो  कंप्यूटर आज के समय में बहुत ही उपयोगी उपकरण है इसके लिये हर किसीको भी कंप्यूटर के विषय में जरुरी ज्ञान तो होना ही चाहिये। पिछली पोस्ट में हमने आपको कंप्यूटर के इनपुट डिवाइस के बारे में विस्तार से समझाया , इस पोस्ट में हम आपको Computer ke Output Device (Output Device of computer in hindi) के बारे में समझायेंगे, तो आइये बिना समय बर्बाद किये जानते है की output device of computer,और output devices name,output devices examples in Hindi,

अनुक्रम

Output Devices Of Computer :

इससे पहले की हम जाने की output devices of computer कौन कौन से है पहले ये जानते है की आउटपुट डिवाइस क्या है ( What is output devices of Computer ) 

Output Devices Of Computer किसे कहते है :

Output Device of computer Hindi Me : आप जब किसी उपकरण में इनपुट डालते हो तो उसका आउटपुट हमे कही पर तप मिलता ही है तो आसान भाषा में कहे तो हमे Input डालने के बाद जिस उपकरण में उसका Output मिले या दिखाई दे उस उपकरण को Output Device कहा जाता है। अगर बात करे output devices examples की तो प्रिंटर, मॉनिटर, स्पीकर, प्रोजेक्टर,ये सब आउटपुट डिवाइस के उदाहरण है।

अब हम आउटपुट डिवाइस के प्रकार के विषय में विस्तार से चर्चा करेंगे और output devices Work के बारे में समझाने का प्रयास करेंगे।

Output Devices Of Computer examples : 

1.Monitor:

Output Device of computer

ये डिवाइस दिखने में एक TV की तरह होता है, इसके द्वारा किसी भी Input Device द्वारा इनपुट किये जाने वाले डाटा (चाहे वह Text हो या Images) को मॉनिटर की स्क्रीन पर देख सकते हो। दूसरे शब्दों में कहा जाये तो Output की Soft Copy को Display करने के लिये इस प्रकार के Output Device का उपयोग किया जाता है। आम तौर पर मॉनिटर को काफी आसानी से पहचाना जा सकता है और ये काफी लोकप्रिय उपकरण भी है। Monitor द्वारा कोई भी व्यक्ति आउटपुट को स्क्रीन पर देख या पढ़ सकता है।

मॉनिटर के रचना के तौर पर दो प्रकार है अब हम types of monitor के बारे में विस्तार से चर्चा करेंगे।

A. CRT Monitor:

ये मॉनिटर का एक प्रकार है। ये भी एक ऑउटपुट डिवाइस है ये दिखने में बिलकुल टीवी के जैसा होता है। ये एक प्रकार की Cathode Rays Tube होती है जिसमे अलग अलग Power Bim का यूज़ करके मॉनिटर की स्क्रीन पर पिक्चर बनाती है जो हमे दिखाई देती है। इसमें स्क्रीन का आकर स्क्रीन के एक कोने से सामने के कोने तक विकर्ण के रूप में नापा जाता है जो की इंच में होता है। पहले के समय में ऐसे Monitor ज्यादा उपयोग में लिये जाते थे। आज कल इस प्रकार के monitor का उपयोग नहीं होता। इस प्रकार के Monitor वजन में भारी होता है।

B.Flat Panel Monitor:

इस प्रकार के Monitor की Screen CRT Monitor के मुकाबले सीधी याने की फ्लैट होने की वजह से इसे Flat Panel Monitor कहा जाता है। इस प्रकार की तकनीक में कंप्यूटर से आउटपुट को प्रदर्शित LCD (Liquid Crystal Display) द्वारा किया जाता है। परंतु इसी प्रकार में आजकल LED का Flat Panel Monitor के रूप में ज्यादा उपयोग होता है,इस प्रकार की तकनीक नोटबुक,मोबाइल,टेबलेट,लैपटॉप में देखने को मिलती है। इस प्रकार के मॉनीटर्स CRT Monitor की तुलना में हल्के होते है।

2.Printer:

इस डिवाइस द्वारा किसी भी Information को Permanent Readable Format में रूपांतर किया जा सकता है। जिसे हम आम तौर पर Hard Copy भी कहते है। इसमें हम Output को किसी कागज पर प्रिंट किया जा सकता है। प्रिंटर की Quality को DPI में नापी जाती है। DPI का Full Form “Dots Per Inch” है, Printer को दो प्रकार में विभाजन किया गया है 1.इम्पेक्ट प्रिंटर और 2.नॉन-इम्पेक्ट प्रिंटर।

1.Impect Printer:

इस प्रकार  प्रिंटर के भी दो प्रकार है

a.Character Printer: 

इस प्रकार के प्रिंटर एक समय में एक character print कर सकता है, character printer के प्रकार की बात करे तो Dot Matrix और Daisy Wheel Printer प्रमुख उदहारण है। डॉट मेट्रिक्स प्रिंटर में छोटे-छोटे electromagnetically Active Pin और एक इंक वाला रिबिन होता है जो Impect से Images बनाता है। इस प्रकार के प्रिंटर काफी शोर करने के साथ काफी धीमे भी होते है। जहां 80 और 132 कॉलम के पेजो पर सतत प्रिंटिंग की जरूरत होती है और बड़े बड़े व्यवसायिक और व्यापारिक काम काज की जरूरत होती है वहां इस प्रकार के प्रिंटर का उपयोग होता है।

b.Line Printer:

पूरी लाइन को एक समय में प्रिंट करने के लिये लाइन प्रिंटर का उपयोग होता है ऐसे प्रिंटर में एक प्रिंट हेड का उपयोग किया जाता है जिसमे बहुत सारी पिनो के इलेक्ट्रोमिकेनिकल मिकेनिजम द्वारा पेपर तथा प्रिंट हेड के मध्य उपस्थित रिबिन के बार बार छूने से पेपर पर अक्षर प्रिंट होते है।

2.Non-impect:

इस प्रकार के प्रिंटर इम्पेक्ट प्रिंटर की तुलना में काफी तेजी से प्रिंट करते है और इसमें आवाज़ भी बहोत कम या बिना आवाज़ के काम होता है। इसके कुछ प्रकार नीचे अनुसार है।

a. Ink-Jet Printer:

बात करे House Use की तो ये एक बहुत ही आम प्रिंटर है। इस प्रकार का प्रिंटर काफी सस्ता होता है परंतु प्रिंट के लिये उपयोग होनेवाले कार्ट्रिज की लागत उसे थोड़ा महेंगा बना देता है। इस प्रकार के प्रिंटर में Print Head से स्याही की छोटी बूंदो के छिड़काव का प्रयोग कर एक image का निर्माण किया जाता है। इस प्रकार के प्रिंटर में अलग अलग कई रंगो की स्याही की जरुरत पड़ती है।

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b.Laser Printer:

अच्छी क्वालिटी की प्रिंटआउट के लिये ज्यादातर लेज़र प्रिंटर का उपयोग किया जाता है। इस प्रकार के प्रिंटर ज्यादातर कार्यालय या व्यावसायिक प्रयोजनों के लिये उपयोग होता है। इस प्रिंटर में Photosensitive सामग्री के साथ Lepit Drum को Charg किया जाता है। बाद में एक Laser या LED द्वारा ड्रम पर Image का निर्माण किया जाता है। ये ड्रम घूमता है और पेपर पर जमा हो जाता है और फिर हीटिंग के कारण पेपर पर बना रहता है।

इस प्रकार के प्रिंटर एक रंग(काले रंग) में और अलग अलग रंग में मिलते है ज्यादा कलर के प्रिंटर एक कलर वाले से महेंगे होते है। इस प्रकार के प्रिंटर Ink-Jet Printer की तुलना में तेज होते है। इन प्रिंटर की speed Page Per Minuit में नापी जाती है।

c.Thermal Printer:

कुछ अलग प्रकार के Paper पर प्रिंट करने हेतु Heat Elements का प्रयोग होता है, बिलकुल इस प्रकार का तरीका थर्मल प्रिंटर में आपको देखने को मिलता है। आपने ATM Machine पर निकलनेवाली रसीद देखी होगी इसमें इस प्रकार के प्रिंटर का उपयोग किया जाता है। इस प्रकार के प्रिंटर में उसकी Printing Cost अधिक होने के कारण इसका उपयोग कम देखने को मिलता है।

d.Plotter:

इस प्रकार के प्रिंटर का उपयोग उच्च गुणवत्ता वाली कलाकृतियाँ,सर्किट डायाग्राम और बिल्डरों द्वारा बनाये गए बिल्डिंग प्लान प्रिंट करने के लिये होता है। इसमें प्रिंट करने के लिये इंक पेस या इंक जेट की सहायता ली जाती है।

3.Speaker:

स्पीकर को शायद ही कोई ना जानता हो। इस प्रकार का आउटपुट डिवाइस Multimedia कंप्यूटर का हिस्सा होता है। Speaker ध्वनि विस्तारण का उपयोग करके कम्पन द्वारा ध्वनि(sound) का निर्माण करते है और आउटपुट में Audio उत्पन्न करते है।

4.Multimedia Projector:

कंप्यूटर की Output Moniter के साथ साथ कही और प्रदर्शित करने के लिये मीटिंग हॉल या प्रेसेंटेशन देने के लिये multimedia projector का उपयोग देखने को मिलता है, multimedia projector द्वारा आउटपुट को बड़ा कर दर्शाया जा सकता है।

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निष्कर्ष :

तो इस पोस्ट द्वारा हमने आपको Computer Ke Output Device के बारे में पूरी जानकारी प्रदान की साथ मे Computer Ke Output Device के प्रकार भी जाने। आशा करते है कंप्यूटर के विषय मे यह पोस्ट आपके लिए फायदेमंद साबित होगी। आपके मन मे अगर कोई सवाल है तो हमे जरूर कॉमेंट करे। पोस्ट को ध्यान से पढ़ने के लिए आपका दिल से धन्यवाद।